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अफगानिस्तान पर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की उच्च स्तरीय बैठक में आतंकवाद पर भारत की दो टूक!

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Braking News : अफगानिस्तान पर UNSC में भारत ने साफ कहा है कि आतंकवाद किसी भी रूप में स्वीकार नहीं है!

Video Source: Zee News

✍️ रिपोर्ट | अंतरराष्ट्रीय नीति

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की एक उच्च स्तरीय बैठक में भारत ने वैश्विक मंच से आतंकवाद के प्रति दोहरे मापदंड अपनाने वालों को स्पष्ट शब्दों में चेताया। भारत के विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर ने अफगानिस्तान में हालिया घटनाओं का हवाला देते हुए कहा कि आतंकवाद किसी भी रूप में स्वीकार्य नहीं है और इसकी दोहरी नीति को अब और बर्दाश्त नहीं किया जा सकता।


“आतंकवाद पर कोई समझौता नहीं” – एस जयशंकर

संयुक्त राष्ट्र की इस महत्वपूर्ण बैठक में, जो “आतंकवादी गतिविधियों से उत्पन्न अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के खतरे” पर केंद्रित थी, भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा:

“दुनिया को आतंकवाद की बुराई से कभी समझौता नहीं करना चाहिए। यह न केवल क्षेत्रीय बल्कि वैश्विक शांति और स्थिरता के लिए भी सबसे बड़ा खतरा है।”

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भारत ने नाम लिए बिना इशारों में पाकिस्तान और तालिबान पर भी निशाना साधा

विदेश मंत्री ने कहा कि:

  • “कुछ देश आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक प्रयासों को कमजोर कर रहे हैं।”

  • भारत ने बिना किसी देश का नाम लिए यह साफ कर दिया कि “आतंकियों को पनाह देने वाले और उन्हें रणनीतिक उपकरण की तरह इस्तेमाल करने वाले देश” अब वैश्विक जिम्मेदारी से नहीं बच सकते।


⚠️ आईएसआईएल-खुरासान का बढ़ता खतरा

डॉ. जयशंकर ने अफगानिस्तान में आईएसआईएल-खुरासान (ISIS-K) की सक्रियता पर चिंता जताते हुए कहा कि:

????️ “ये आतंकी संगठन न सिर्फ अफगानिस्तान की स्थिरता को चुनौती दे रहे हैं बल्कि पूरी दुनिया के लिए खतरा बन सकते हैं।”


भारत की आतंकवाद पर स्थायी नीति

भारत ने हमेशा स्पष्ट किया है कि:

  • आतंकवाद को किसी धर्म, जाति, समुदाय या राष्ट्रीयता से नहीं जोड़ा जा सकता।

  • आतंकवाद किसी भी रूप में या किसी भी मकसद के तहत न्यायोचित नहीं ठहराया जा सकता।

  • भारत ने UN द्वारा प्रस्तावित समग्र आतंकवाद संधि (Comprehensive Convention on International Terrorism) के पक्ष में लंबे समय से आवाज़ उठाई है, जिसे कुछ देशों द्वारा लगातार रोका जा रहा है।


अफगानिस्तान की घटनाएं और भारत की चिंता

तालिबान के सत्ता में लौटने और आतंकवादी गुटों की संभावित सक्रियता को लेकर भारत ने स्पष्ट किया कि:

  • अफगानिस्तान में अस्थिरता, भारत समेत पूरे दक्षिण एशिया को प्रभावित कर सकती है।

  • भारत ने अफगानिस्तान के भविष्य में एक समावेशी और लोकतांत्रिक व्यवस्था की वकालत की है।